सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

खास खबर

ई-रिक्शा चालकों की मनमानी, क्षमता से अधिक बैठा रहे सवारी, हादसे का बढ़ा खतरा

 ई-रिक्शा चालकों की मनमानी, क्षमता से अधिक बैठा रहे सवारी, हादसे का बढ़ा खतरा रानी की सराय। सुगम यातायात में बाधक बन रहे ई-रिक्शा, यात्रियों की सुरक्षा के लिए खतरा बनने लगे हैं। क्षमता से अधिक सवारी बैठा तेज रफ्तार से चल रहे हैं। आए दिन ई-रिक्शा के पलटने पर यात्रियों के घायल होने की घटनाएं हो रही हैं। लेकिन पुलिस और यातायात विभाग पर इन पर कार्रवाई को लेकर उदासीन बना है।   शहर से लेकर ग्रामीण इलाकों में ई-रिक्शा का संचालन होता है। नियमों को धता बताते हुए अधिकांश ई-रिक्शा क्षमता से अधिक यात्रियों को ढो रहे हैं।  रानी की सराय में यातायात नियमों की खुलेआम अवहेलना की जा रही है। कस्बा में  एक ई-रिक्शा चालक ने सीमा से अधिक सवारियां बैठाई। जिसमें लगभग 11 सवारियां अंदर बैठी हैं।   ई-रिक्शा चालकों द्वारा नियमों की अवहेलना से सड़क दुर्घटनाओं का जोखिम बढ़ रहा है। ई-रिक्शा चालक क्षमता से अधिक सवारियां और सामान ले जा रहे हैं। स्थानीय निवासियों ने बताया कि चालक रिक्शा की छत पर भी यात्रियों को बैठा रहे हैं। यह कार्य न केवल कानून के विरुद्ध है, बल्कि यात्रियों की जान को भ...

Mau : एक सप्ताह से जले हैं दो ट्रांसफार्मर


जेई के तबादले के चलते नहीं लगा ट्रांसफार्मर

गर्मी से बेहाल हैं ग्रामीण, खेतों की नहीं कर पा रहे सिंचाई

दोनों ट्रांसफार्मरों को बदलने के साथ क्षमता बढ़ाने की मांग

मऊ। जिले के बड़रावं ब्लाक के रेयांव के हकड़ा पूरवा में विद्युत आपूर्ति के लिए लगे दो ट्रांसफार्मर पिछले एक सप्ताह से जले पड़े हैं। लोगों ने ट्रांसफार्मर बदलने के लिए विभाग में शिकायत की। लेकिन जेई का तबादला होने के चलते ट्रांसफार्मर बदलने की प्रक्रिया पर ब्रेक लग गया। बिजली न रहने से पूरवे के लोग इस भीषण गर्मी में बेहाल हैं। साथ ही खेतों में सिंचाई नहीं कर पा रहे हैं। क्षेत्र के लोगों ने कहा कि कई बार हम लोगों ने ट्रांसफार्मर की क्षमता बढ़ाने की मांग की लेकिन विभाग मौन है। आए दिन ट्रांसफार्मर जलता रहता है। लोगों ने जल्द ट्रांसफार्मर लगवाने की मांग की है। 

बता दें कि ग्राम पंचायत रेयावं के हकड़ा में मादी-सिपाह विद्युत उपकेंद्र से बिजली की आपूर्ति होती है। गांव आपूर्ति के लिए 25 केवी और 63 केवी का ट्रांसफार्मर लगा है। 25 केवी के ट्रांसफार्मर से लगभग 20 घरों में आपूर्ति होती है, जबकि 63 केवी के ट्रांसफार्मर से लगभग 50 घरों में आपूर्ति होती है। दोनों ट्रांसफार्मर एक-एक दिन के अंतराल पर एक सप्ताह पूर्व जल गए।  गांव के लोगों ने नया ट्रांसफार्मर लगाने के लिए विद्युत उपकेंद्र मादी-सिपाह पर जाकर शिकायत दर्ज कराई। इस बीच तत्कालीन जेई का तबादला होने के कारण ट्रांसफार्मर बदलने की प्रक्रिया बाधित हो गई। एक सप्ताह का समय बीत गया। लेकिन ट्रांसफार्मर नहीं बदला गया। ट्रांसफार्मर के न बदले जाने से गांव में जहां एक तरफ लोग गर्मी से बेहाल हैं, वहीं दूसरी तरफ सिंचाई का कार्य बाधित है। जो संपन्न हैं ‌वह किसी अन्य माध्यम से खेतों की सिंचाई कर ले रहे हैं। लेकिन मध्यम वर्ग के किसान बिजली आने का आसरा लगाए बैठें हैं और खेत में बोई धान की नर्सरी को सूखता देख रहे हैं। किसानों का कहना है कि विभाग की लापरवाही के चलते उनको काफी नुकसान हो रहा है। क्षेत्र के लोगों ने ट्रांसफार्मर की क्षमता बढ़ाने के साथ ही जल्द से जल्द दोनों ट्रांसफार्मर बदलवाने की मांग की है। वहीं दूसरी तरफ जब विभाग के लोगों से बात की गई तो कर्मचारियों ने बताया कि जेई का तबादला हो गया है। नए जेई के यहां गांव के लोग शिकायत दर्ज कराए, तभी नया ट्रांसफार्मर लग पाएगा। अब देेखना है कि कब तक हकड़ा पूरवा  में विद्युत आपूर्ति बहाल हो पाती है।