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ई-रिक्शा चालकों की मनमानी, क्षमता से अधिक बैठा रहे सवारी, हादसे का बढ़ा खतरा

 ई-रिक्शा चालकों की मनमानी, क्षमता से अधिक बैठा रहे सवारी, हादसे का बढ़ा खतरा रानी की सराय। सुगम यातायात में बाधक बन रहे ई-रिक्शा, यात्रियों की सुरक्षा के लिए खतरा बनने लगे हैं। क्षमता से अधिक सवारी बैठा तेज रफ्तार से चल रहे हैं। आए दिन ई-रिक्शा के पलटने पर यात्रियों के घायल होने की घटनाएं हो रही हैं। लेकिन पुलिस और यातायात विभाग पर इन पर कार्रवाई को लेकर उदासीन बना है।   शहर से लेकर ग्रामीण इलाकों में ई-रिक्शा का संचालन होता है। नियमों को धता बताते हुए अधिकांश ई-रिक्शा क्षमता से अधिक यात्रियों को ढो रहे हैं।  रानी की सराय में यातायात नियमों की खुलेआम अवहेलना की जा रही है। कस्बा में  एक ई-रिक्शा चालक ने सीमा से अधिक सवारियां बैठाई। जिसमें लगभग 11 सवारियां अंदर बैठी हैं।   ई-रिक्शा चालकों द्वारा नियमों की अवहेलना से सड़क दुर्घटनाओं का जोखिम बढ़ रहा है। ई-रिक्शा चालक क्षमता से अधिक सवारियां और सामान ले जा रहे हैं। स्थानीय निवासियों ने बताया कि चालक रिक्शा की छत पर भी यात्रियों को बैठा रहे हैं। यह कार्य न केवल कानून के विरुद्ध है, बल्कि यात्रियों की जान को भ...

Azamgarh: मुख्तार के करीबियों से ईडी आज से करेगी पूछताछ

जीजा तन्नू अंसारी को भेजा पहला नोटिस

उसके ठिकाने पर 12 घंटे चली थी छापामारी

लखनऊ। माफिया मुख्तार अंसारी के करीबियों की मुश्किलें और बढ़ने वाली हैं। मुख्तार के जिन करीबियों के ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने छापामारी की थी। उनसे सोमवार यानी आज से ईडी के जोनल कार्यालय में जवाब तलब होंगे। सबसे पहले मुख्तार के जीजा तन्नू अंसारी को नोटिस जारी हुआ है।

 तन्नू के डालीबाग के घर पर ईडी की टीम ने करीब 12 घंटे तक छानबीन की थी। सोर्स के मुताबिक ईडी के हाथ ऐसे दस्तावेज लगे हैं, जिनकी मदद से लखनऊ के कुछ बिल्डर भी इस जांच के दायरे में आ सकते हैं। गाजीपुर के विक्रम अग्रहरि, गणेश मिश्रा, खान बस सर्विस के संचालक को भी पूछताछ के लिए बुलाया गया है। इसके अलावा मुख्तार और उनके परिवार के सदस्यों की कंपनियों के डायरेक्टर्स से भी पूछताछ होनी है। इनमें विकास कंस्ट्रक्शन, अंसारी कंस्ट्रक्शन एंड इंटरप्राइजेस, ग्लोरीज लैंड डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड आदि शामिल हैं। मुख्तार अंसारी के 11 ठिकानों पर 12 घंटे छापेमारी चली थी। ED ने मछली कारोबार, अवैध जमीन और रेलवे ठेकों से जुड़े दस्तावेज जब्त किए थे। पिछले हफ्ते ईडी ने मुख्तार के करीबियों के ठिकानों पर छापामारी की। 100 से ज्यादा संपत्तियों के दस्तावेज बरामद हुए। इनके बेनामी होने की आशंका में संपत्ति के मालिकों को नोटिस जारी हो रहे हैं। अधिकारियों के मुताबिक, लखनऊ के इन बिल्डर्स को मुख्तार का संरक्षण मिला हुआ था। उनकी बेशकीमती संपत्तियों में मुख्तार की हिस्सेदारी रहती थी।गाजीपुर में 18 अगस्त को मुख्तार अंसारी के सहयोगियों और परिजनों के घर पर ईडी ने छापामारी की। सुरक्षा के लिए CRPF तैनात की गई। इसमें अफजाल अंसारी, गणेश दत्त मिश्रा, विक्रम अग्रहरी और मुश्ताक खान के यहां एक साथ टीम पहुंची थीं। प्रॉपर्टी डीलर गणेश दत्त मिश्रा ने बयान जारी किया। कहा,"मेरा संबंध मुख्तार अंसारी से नहीं, बल्कि अखिलेश यादव से है। उन्होंने एक बार नहीं कहा कि मेरे आदमी पर कार्रवाई क्यों हो रही है?" गणेश दत्त ने बताया,"इस कार्रवाई में ईडी ने एक प्रॉपर्टी का पेपर जो डाली बाग में मेरे द्वारा खरीदा गया था। उसे कुछ सालों के बाद बेच भी दिया गया है। उसे अपने साथ ले गई हैं। इसके अलावा उन्हें और कुछ नहीं मिला है। इस दौरान उन्होंने आरोप लगाया कि ये कार्रवाई दिल्ली से एक सांसद करवा रहा है। जो 2024 का चुनाव गाजीपुर से लड़ने वाले हैं।" उन्होंने ये भी आरोप लगाया कि मुझे और मेरे व्यवसाय को कमजोर करने के लिए इस तरह की कार्रवाई कराई जा रही है।